क्यों करता है नाज़ क़िस्मत ने जो दिया आज़ क़िस्मत को हमने भी देखा है पानी बरसते में दिये को जलते देखा है
तू पत्थर दिल इंसा तू मोम की ताक़त क्या जाने जो रो देती एक बाती के जलने से यह पत्थर दिल इंसा
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